'बढ़ते कदम-एकता के प्रतीक' का हुआ आयोजन

० योगेश भट्ट ० 
नई दिल्ली - एनजीओ ''आर्ट क्रिएशन्स कल्चरल सोसाइटी” द्वारा संगीतमय कार्यक्रम "बढ़ते कदम-एकता के प्रतीक" का आयोजन किया जिसमे देश की अलग-अलग हस्तियों ने शिरकत की जिनमे हेमाँ गुरु ने नेदरलॅंड्स से, विजय सिंह आईपीएस जॉइंट कमिश्नर ऑफ़ पुलिस दिल्ली, पूर्व स्पेशल सीपी संजय सिंह, हेमंत कुमार पवार-चीफ एडमिनिस्ट्रेटिव अफसर मेडिकल एंड रिसर्च मुंबई, आनंद कुमार मिश्रा डीसीपी दिल्ली पुलिस, संजय कुमार अम्बास्ता डिप्टी डायरेक्टर एजुकेशन दिल्ली सरकार, कृष्णा शर्मा सुपरिन्डेन्ट तिहाड़ जेल, एडवोकेट सुनीत सिंह,
पीटर फर्नांडेस, अरुण दौड़कर, राजू वाघमारे पत्रकार पुणे, राम कुमार, गायक सिकंदर राजा हसन, इंस्पेक्टर अजय दिल्ली पुलिस, प्रवेश कुमार गौड़, डॉ काजल किरण, तिहाड़ आईडल के विनर गायक साजिद अली, मुम्बई से गायक सूरज कुमार, मेघा भारद्वाज, दीपक राणा, मास्टर लव कुश राणा, खुशबू , वीरेश्वर शर्मा, मेघा शर्मा शामिल थी। 
इस देश भक्ति संगीतमय कार्यक्रम के प्रस्तुतिकरण के पीछे ''आर्ट क्रिएशन्स कल्चरल सोसाइटी” संस्था का मुख्य उद्देश्य लोगो को मनोरंजन के साथ साथ एक सामाजिक सन्देश भी देना है। कार्यक्रम के आयोजक एवं संस्था के अध्यक्ष नरेश बैसला का कहना है इस आधुनिक दौर में हम सिर्फ अपने आप तक सिमित हो गया है। आज हम या तो अपने रोज़मर्रा के कार्यो में बीजी रहते है या हमारा ज्यादा समय मोबाइल में ही बीतता है। 

संयुक्त परिवारों का चलन भी तेजी से कम हो रहा है जिसकी वजह से हम सोशल और सामाजिक चीजों से दूर हो रहे है। इस लिए हम अपनी संस्था ''आर्ट क्रिएशन्स कल्चरल सोसाइटी” के मध्यम से समय-समय पर ऐसे सोशल और सामाजिक कार्यक्रमों का आयोजन करते रहते है। इस मौके पर संस्था के अध्यक्ष नरेश बैसला,उपाध्यक्ष मयंक जैन, सचिव मांगेराम,, पंकज चौहान कोषाध्यक्ष, रचना जैन-जनरल सेक्रेटरी, सरिता-संयुक्त सचिव,,वेद प्रकाश, मोंटू कुमार कार्यकारी सदस्य प्रोग्राम की अहम कड़ी ममता बैसला और म्यूजिक डोर्मी ग्रुप, एंकर प्रदीप पल्लवी और राजू अग्रवाल आदि मुख्यरूप से शामिल थे। 

टिप्पणियाँ

इस ब्लॉग से लोकप्रिय पोस्ट

उर्दू अकादमी दिल्ली के उर्दू साक्षरता केंद्रों की बहाली के लिए आभार

राजा बहिरवाणी बने सिंधी काउंसिल ऑफ इंडिया दुबई चैप्टर के अध्यक्ष

स्वास्थ्य कल्याण होम्योपैथी व योगा कॉलेजों के दीक्षांत में मिली डिग्रियां

"मुंशी प्रेमचंद के कथा -साहित्य का नारी -विमर्श"