केंद्रीय ‘यशस्विनी’ अभियान की शुरुआत लाभार्थियों को बांटे चेक
जयपुर | केंद्रीय सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम मंत्री जीतन राम मांझी ने कहा कि हमारे देश की बेटियां उद्यम के क्षेत्र में आगे हैं। विभिन्न छोटे एवं मध्यम उद्योगों में वे सफलतापूर्वक अपनी मजबूत सहभागिता दिखा रही हैं। उनके लिए ऋण की व्यवस्था को सुगम बनाया होगा। बैंकों को भी इस दिशा में अपनी सकारात्मक भूमिका निभानी चाहिए। जयपुर के राजस्थान इंटरनेशनल सेंटर में महिला उद्यमियों के लिए ‘यशस्विनी’ अभियान का देशव्यापी शुभारंभ किया। 18 राज्यों में इस योजना को लागू कर दिया गया है।जीतन राम मांझी ने कहा कि महिला उद्यमियों को आगे बढ़ाने और उन्हें सहायता प्रदान करने के मकसद से इस अभियान की शुरुआत राजस्थान से की गई है। उन्होंने अन्य राज्यों की तुलना में राजस्थान की महिला सशक्तिकरण की सराहना भी की।‘यशस्विनी’ अभियान महिलाओं के स्वामित्व वाले अनौपचारिक सूक्ष्म उद्यमों को औपचारिक रूप देने और महिला स्वामित्व वाले उद्यमों को क्षमता निर्माण, प्रशिक्षण, हायता और सलाह प्रदान करने के लिए जागरुकता अभियानों की एक श्रृंखला है, जो देश भर में सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्योगों से जुड़ी महिलाओं को हर संभव सहायता प्रदान करेगा।इस कार्यक्रम में केंद्रीय मंत्री जीतन राम मांझी ने महिला उद्यमियों का सम्मान किया जो आज अपने अथक परिश्रम और लगन के बल पर रोजगार प्रदाता बन चुकी हैं। इस अवसर पर उन्होंने कई सफल महिला उद्यमियों को ‘यशस्विनी’ और ‘पीएम विश्वकर्मा योजना’ के तहत ऋण के चेक भी वितरित किए। इस कार्यक्रम में केंद्रीय राज्यमंत्री शोभा करंदलाजे, राजस्थान के उद्योग एवं वाणिज्य मंत्री कृष्ण कुमार विश्नोई समेत केंद्र व राजस्थान सरकार के वरिष्ठ अधिकारी मौजूद रहे। कार्यक्रम में करीब 600 से अधिक महिला उद्यमी, विशेष रूप से स्वयं सहायता समूहों की सदस्य, सूक्ष्म अनौपचारिक उद्यमी, कारीगर व भावी महिला उद्यमियों ने उत्साह के साथ भाग लिया।
केंद्रीय सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्योग मंत्रालय के अतिरिक्त सचिव डॉ रजनीश ने कहा कि राष्ट्र कि जीडीपी में एमएसएमई का 30 प्रतिशत योगदान है। उन्होने कहा कि 4 करोड़ 70 लाख एमएसएमई उद्योग पंजीकृत है। जिसमे 20 से 30 प्रतिशत महिला उद्यमी है इसे 50 प्रतिशत ले जाने का लक्ष्य है । उन्होने कहा कि जयपुर में शीघ्र ही 150 करोड़ कि लागत से टेक्नोलॉंजी पार्क विकसित किया जाएगा । उन्होने बताया कि एमएसएमई मंत्रालय, ग्रामीण विकास मंत्रालय,
केंद्रीय सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्योग मंत्रालय के अतिरिक्त सचिव डॉ रजनीश ने कहा कि राष्ट्र कि जीडीपी में एमएसएमई का 30 प्रतिशत योगदान है। उन्होने कहा कि 4 करोड़ 70 लाख एमएसएमई उद्योग पंजीकृत है। जिसमे 20 से 30 प्रतिशत महिला उद्यमी है इसे 50 प्रतिशत ले जाने का लक्ष्य है । उन्होने कहा कि जयपुर में शीघ्र ही 150 करोड़ कि लागत से टेक्नोलॉंजी पार्क विकसित किया जाएगा । उन्होने बताया कि एमएसएमई मंत्रालय, ग्रामीण विकास मंत्रालय,
आवास और शहरी मामलों के मंत्रालय, जनजातीय मामलों के मंत्रालय, नीति आयोग जैसे अन्य सहयोगी मंत्रालयों, राज्य सरकारों और अन्य तकनीकी और वित्तीय संस्थानों के साथ मिलकर मार्च 2024 में महिला उद्यमियों के प्रोत्साहन और समर्थन के लिए एक अनूठी पहल 'एम्पावर उड़ान' शुरू की है। इसका उद्देश्य महिलाओं द्वारा आर्थिक गतिविधियों को प्रोत्साहित करना और उन्हें औपचारिक क्षेत्र में लाना है ताकि वे एमएसएमई को बढ़ावा देने के लिए सरकार के विभिन्न योजनाओं तक पहुंच प्राप्त कर सकें।
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