राजस्थान उपचुनाव में भारतीय जनता पार्टी को 7 में से शून्य सीट मिलेगी : कांग्रेस
० संवाददाता द्वारा ०
जयपुर। प्रदेश में 7 विधानसभा क्षेत्रों में उपचुनाव की घोषणा हो चुकी है और भारतीय जनता पार्टी को 7 में से शून्य सीट मिलेगी क्योंकि प्रदेश की जनता ने भारतीय जनता पार्टी की सरकार इस आस से बनायी थी कि जनता के लिए कार्य करेंगे किन्तु मुख्यमंत्री चयन, मंत्रीमण्डल के गठन, ब्यूरोक्रेसी को दी गई पोस्टिंग, योजनाओं की क्रियान्विति, बजट सभी क्षेत्रों में जनता को निराशा हाथ लगी है। चुनाव पूर्व भाजपा ने जो वादे किए थे उनकी क्रियान्विति हेतु कोई कार्य भाजपा की राज्य सरकार ने नहीं किया। उक्त विचार राजस्थान प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष गोविन्द सिंह डोटासरा ने प्रदेश कांग्रेस कमेटी वॉर रूम, जयपुर पर प्रेस वार्ता को सम्बोधित करते हुए व्यक्त किए।
उन्होंने कहा कि पर्ची से चुनी हुई सरकार भ्रमण, भाषण और भ्रमित करते-करते सर्कस में बदल गई है, मंत्री के इस्तीफे हो गए और केबिनेट मंत्री भाजपा मुख्यालय में बैठकर कह रहा है कि ‘‘मुख्यमंत्री जी मेरा इस्तीफा स्वीकार करें’’ किन्तु आज तक भाजपा सरकार उनके इस्तीफे पर कोई निर्णय नहीं ले सकी है। उन्होंने कहा कि एक दिन मंत्री के रूप में लेटर हेड पर अनुशंषा करते है दूसरे दिन विधायक के रूप में अनुशंषा करते है। उन्होंने कहा कि इस्तीफा दिए हुए मंत्री मंत्रिमण्डल की बैठक में भी शामिल होते है और जनता सोचती है कि मंत्री के रूप में कार्य करेंगे और अगले दिन ही बयान देते है
जयपुर। प्रदेश में 7 विधानसभा क्षेत्रों में उपचुनाव की घोषणा हो चुकी है और भारतीय जनता पार्टी को 7 में से शून्य सीट मिलेगी क्योंकि प्रदेश की जनता ने भारतीय जनता पार्टी की सरकार इस आस से बनायी थी कि जनता के लिए कार्य करेंगे किन्तु मुख्यमंत्री चयन, मंत्रीमण्डल के गठन, ब्यूरोक्रेसी को दी गई पोस्टिंग, योजनाओं की क्रियान्विति, बजट सभी क्षेत्रों में जनता को निराशा हाथ लगी है। चुनाव पूर्व भाजपा ने जो वादे किए थे उनकी क्रियान्विति हेतु कोई कार्य भाजपा की राज्य सरकार ने नहीं किया। उक्त विचार राजस्थान प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष गोविन्द सिंह डोटासरा ने प्रदेश कांग्रेस कमेटी वॉर रूम, जयपुर पर प्रेस वार्ता को सम्बोधित करते हुए व्यक्त किए।
उन्होंने कहा कि पर्ची से चुनी हुई सरकार भ्रमण, भाषण और भ्रमित करते-करते सर्कस में बदल गई है, मंत्री के इस्तीफे हो गए और केबिनेट मंत्री भाजपा मुख्यालय में बैठकर कह रहा है कि ‘‘मुख्यमंत्री जी मेरा इस्तीफा स्वीकार करें’’ किन्तु आज तक भाजपा सरकार उनके इस्तीफे पर कोई निर्णय नहीं ले सकी है। उन्होंने कहा कि एक दिन मंत्री के रूप में लेटर हेड पर अनुशंषा करते है दूसरे दिन विधायक के रूप में अनुशंषा करते है। उन्होंने कहा कि इस्तीफा दिए हुए मंत्री मंत्रिमण्डल की बैठक में भी शामिल होते है और जनता सोचती है कि मंत्री के रूप में कार्य करेंगे और अगले दिन ही बयान देते है
कि उनका मंत्री पद से कोई सरोकार नहीं है वे तो भर्ती परीक्षा रद्द करवाने हेतु मंत्रिमण्डल की बैठक में चले गए थे, इसीलिए प्रदेश की जनता ने इस सरकार को सर्कस का नामकरण किया है। उन्होंने कहा कि अब यह सरकार यू-टर्न की सरकार बन गई है, क्योंकि वर्तमान भाजपा सरकार अपना एक भी फैसला लागू नहीं कर पा रही है। उन्होंने कहा कि शिक्षा जैसे महत्वपूर्ण विभाग में पूर्व में घोषणा की गई थी कि 100 दिवस में ट्रांसफर पॉलिसी बनायी जाएगी, उस पर यू-टर्न ले लिया। अंग्रेजी महात्मा गांधी स्कूलों को हिन्दी मीडियम में बदलने की घोषणा की गई, उस पर भी यू-टर्न ले लिया।
सरकार ने मोबाईल स्कूलों में लाने पर प्रतिबन्ध लगाया उस पर यू-टर्न ले लिया। घोषणा हुई थी कि प्रारम्भिक शिक्षा पंचायती राज से 6 डी के माध्यम से माध्यमिक शिक्षा में ट्रांसफर करेंगे, यह घोषणा भी भाजपा सरकार ने वापस ले ली। यह भी घोषणा हुई थी कि जो सरप्लस टीचर है अगेनस्ट पोस्ट लगे हुए है उनका समायोजन किया जाएगा, यह घोषणा भी वापस हो गई। रिक्त पदों पर भी नियुक्ति नहीं हुई। उन्होंने कहा कि शिक्षा मंत्री ने बच्चों के लिए दूध से पोषण देने वाली योजना को बंद करने की घोषणा की थी और मोटा अनाज देने की बात कहीं गई किन्तु यह भी लागू नहीं हुआ।
उन्होंने कहा कि अब तो अति हो गई जब शिक्षा विभाग में ट्रांसफर की लिस्ट जारी हुई और तीन घण्टे बाद ही वह निरस्त हो गई। उन्होंने कहा कि यूडीएच विभाग के मंत्री ने नगर निकायों में सहवृत्त सदस्यों की सूची जारी की वो भी 24 घण्टे के भीतर स्थगित हो गई। उन्होंने कहा कि यह उदाहरण है जिसके कारण आज भाजपा की प्रदेश सरकार का नामकरण यू-टर्न की सरकार हो गया है। उन्होंने कहा कि जनता का भारतीय जनता पार्टी तथा भाजपा की प्रदेश सरकार से मोहभंग हो चुका है। उन्होंने कहा कि जन कल्याण के लिए भाजपा की प्रदेश सरकार ने गर्मियों में प्रदेशवासियों के लिए ना तो पानी की व्यवस्था की और ना ही बिजली की व्यवस्था कर पायें।
उन्होंने कहा कि बरसात के पश्चात् प्रदेशभर में सड़कें टूटी पड़ी है उन्हें सुधारने के लिए कोई कदम नहीं उठाए गए। उन्होंने कहा कि अतिवृष्टि से किसान की फसल खराब हो गई उसके मुआवजे के लिए ना तो सरकार ने कोई कदम उठाए है और ना ही इस पर चर्चा हो रही है। उन्होंने कहा कि जनता के दुःख, तकलीफों की अनदेखी कर भाजपा सरकार के मुखिया विदेशों में भ्रमण कर रहे है जबकि विदेशों में कोई इनसे मीटिंग नहीं कर रहा है, केवल होटल में बैठ कर पर्यटकों की तरह भ्रमण कर रहे है। उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार के कुशासन को जनता देख रही है और आगामी विधानसभा उपचुनावों में भाजपा को सबक प्रदेशवासी सिखाएंगे।
उन्होंने कहा कि जनता ने जनहित के कार्य करने के लिए प्रदेश में सरकार का गठन किया था किन्तु जन कल्याण का एक भी कार्य भाजपा सरकार ने नहीं किया है। उन्होंने कहा कि आज भाजपा का एक विधायक अथवा मंत्री इस सरकार में कोई कार्य करवाने का दावा नहीं कर सकता। उन्होंने कहा कि प्रदेश में ब्यूरोक्रेसी का मनोबल टूटा पड़ा है गुटों में बंटी हुई भाजपा से जनता त्रस्त है। उन्होंने कहा कि जनता ने तो सरकार बनायी थी किन्तु प्रतिदिन सर्कस देखने को मिल रहा है क्योंकि गर्वनेन्स नजर नहीं आ रही है और हद तो तब हो गई
जब एसपी जैसे महत्वपूर्ण पद पर बैठी हुई अधिकारी की जासूसी लोकेशन ट्रेस कर उन्हीं के मातहत पुलिसकर्मी कर रहे हैं और सरकार के द्वारा कोई कड़ी प्रभावी कार्यवाही नहीं की गई। उन्होंने कहा कि ऐसी परिस्थिति में भारतीय जनता पार्टी किस मुंह से महिला सशक्तिकरण की बात कर रही है, आये दिन नाबालिग बच्चियों के साथ बलात्कार की घटनाएं सुर्खियां बन रही हैं, माफिया हावी है चाहे खनन माफिया हो, लैण्ड माफिया हो, कोई कार्यवाही सरकार द्वारा इन्हें रोकने के लिए नहीं की जा रही। उन्होंने कहा कि सरकार के दायित्व निभाने की बजाए बयानबाजी में सरकार के मंत्री उलझे हुए है
कभी कुछ मंत्री एसआई भर्ती परीक्षा निरस्त करने की बात कहते है तो कभी कोई मंत्री ऐसा कोई निर्णय नहीं लिए जाने की जानकारी देते है। उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार को यह सर्कस बंद कर इस मुद्दें पर तुरन्त निर्णय कर प्रदेश के युवाओं और बेरोजगारों के लिए नई भर्तियां निकाल कर रोजगार देने का कार्य करना चाहिए। उन्होंने कहा कि प्रदेश में भाजपा सरकार के गठन होने के 10 माह बीतने के बाद भी भाजपा नेता कांग्रेस की पूर्ववर्ती सरकार को कोसने का काम कर रहे है
तथा आरोप-प्रत्यारोप की राजनीति करते हुए कांग्रेस सरकार के समय पेपर लीक होने की बात कह रहे हैं जबकि पेपर लीक देशभर में हुए केन्द्र सरकार द्वारा करवायी गयी नीट परीक्षा का भी पेपर लीक हो गया और मुकदमें दर्ज हुए। उन्होंने कहा कि हमारी सरकार ने तो रीट का पेपर लीक होने के पश्चात् परीक्षा निरस्त कर दुबारा परीक्षा करवा कर युवाओं को नियुक्ति दे दी थी लेकिन इस मुद्दें पर बिना कारण आरोप-प्रत्यारोप की राजनीति भाजपा कब तक करेगी।
उन्होंने कहा कि सरकार को अब सर्कस बंद कर गुड गर्वनेन्स पर ध्यान केन्द्रित करना चाहिए जनता के लिए अच्छी योजनाएं लागू करते हुए प्रदेशवासियों के बीच जाकर उनके दुःख, तकलीफों की जानकारी लेनी चाहिए।उन्होंने कहा कि दिखावे के लिए भाजपा ने एक बार प्रदेश कार्यालय में जनसुनवाई करने की घोषणा की थी किन्तु ढ़ाई घण्टे की जनसुनवाई के पश्चात् आज तक भाजपा सरकार ने कोई जनसुनवाई नहीं की। उन्होंने कहा कि प्रदेशवासी समझ नहीं पा रहे है कि अपनी वेदनाएं किसके समक्ष प्रस्तुत करें। उन्होंने कहा कि कांग्रेस शासन में प्रतिदिन प्रदेश कांग्रेस मुख्यालय पर जनसुनवाई होती थी और प्रदेशवासियों की दुःख, तकलीफों को सुनकर उनकी पीड़ा को दूर करने का कार्य किया जाता था किन्तु भाजपा शासन में जनता की सुनवाई नहीं हो रही है।
उन्होंने कहा कि प्रदेश में होने वाले सातों विधानसभा क्षेत्रों के उपचुनावों में कांग्रेस पार्टी की जीत सुनिश्चित करने के लिए प्रदेश कांग्रेस कमेटी ने पूरी तैयारी कर ली है। प्रत्येक विधानसभा क्षेत्र के लिए एक सीनियर ऑर्ब्जवर, संगठन के दो पदाधिकारी संगठनात्मक कार्यों के लिए संगठन इंचार्ज तथा वरिष्ठ नेताओं को चुनाव प्रभारियों के रूप में जिम्मेदारी प्रदान की गई है। उन्होंने कहा कि संगठनात्मक सक्रियता के लिए पूर्व में बनायी गयी समितियों द्वारा सातों विधानसभा क्षेत्रों के 77 मण्डलों में बूथ कार्यकर्ताओं की बैठक ली जा चुकी है।
उन्होंने कहा कि प्रदेश में होने वाले सातों विधानसभा क्षेत्रों के उपचुनावों में कांग्रेस पार्टी की जीत सुनिश्चित करने के लिए प्रदेश कांग्रेस कमेटी ने पूरी तैयारी कर ली है। प्रत्येक विधानसभा क्षेत्र के लिए एक सीनियर ऑर्ब्जवर, संगठन के दो पदाधिकारी संगठनात्मक कार्यों के लिए संगठन इंचार्ज तथा वरिष्ठ नेताओं को चुनाव प्रभारियों के रूप में जिम्मेदारी प्रदान की गई है। उन्होंने कहा कि संगठनात्मक सक्रियता के लिए पूर्व में बनायी गयी समितियों द्वारा सातों विधानसभा क्षेत्रों के 77 मण्डलों में बूथ कार्यकर्ताओं की बैठक ली जा चुकी है।
उन्होंने कहा कि अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के सचिव तथा प्रदेश के तीनों सह प्रभारियों को दो-दो, तीन विधानसभा क्षेत्रों की जिम्मेदारी प्रदान की गई है जो 18-19 अक्टूबर तक संबंधित क्षेत्र में जाकर संगठन की बैठक लेंगे एवं कार्यकर्ताओं व नेताओं से प्रत्याशी चयन हेतु फीडबैक लेकर प्रदेश कांग्रेस कमेटी को अवगत करवाएंगे जिसके पश्चात् प्रत्याशी चयन हेतु पैनल बनाकर प्रदेश कांग्रेस कमेटी अपनी अनुशंषा अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के समक्ष प्रस्तुत करेगी। उन्होंने कहा कि आलाकमान द्वारा चयनित प्रत्याशी को जिताने के लिए कांग्रेस के सभी नेता एवं कार्यकर्ता एकजुटता के साथ कार्य करेंगे तथा सातों विधानसभा क्षेत्रों में जीत दर्ज करवाएंगे।
उन्होंने कहा कि गठबंधन संबंधी सभी निर्णय आलाकमान द्वारा लिए जाते हैं तथा राजस्थान प्रदेश कांग्रेस कमेटी सभी सातों विधानसभा सीटों पर चुनाव लड़ कर जीतने की तैयारी कर रही है। राजस्थान प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष गोविन्द सिंह डोटासरा ने प्रदेश कांग्रेस कमेटी जयपुर पर राजस्थान प्रदेश कांग्रेस कमेटी के मीडिया टीम के सदस्यों की बैठक लेकर महत्वपूर्ण निर्देश प्रदान किए।
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