अंतरिम बजट की परंपरा का रखा गया ध्यान- फोर्टी
जयपुर। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने संसद में अंतरिम बजट पेश किया। जिस तरह से सरकार ने तैयारियां की उसे देखकर संभावना जताई जा रही थीं। अंतरिम बजट में भी कुछ बड़ी घोषणाएं हो सकती हैं लेकिन वित्त मंत्री ने अंतरिम बजट में परंपरा को कायम रखा। इसमें कर प्रावधानों में कोई भी बदलाव नहीं किया और ना ही चुनावों के मद्देनजर कोई लोकलुभावनी योजना की घोषणा की। फेडरेशन ऑफ राजस्थान ट्रेड इंडस्ट्री (फोर्टी ) कार्यालय पर अंतरिम बजट के सीधे प्रसारण के बाद बजट समीक्षा बैठक की गई।
इसमें अध्यक्ष सुरेश अग्रवाल का कहना है कि बजट में वित्त मंत्री का अभी तक की उपलब्धियों का ज्यादा फोकस रहा, विपक्ष को मुद्दा बनाने का कोई अवसर ना दिया जाए ,इसके लिए कर प्रावधानों में बदलाव नहीं किया और ना ही कोई नई योजना की घोषणा की। हालांकि एफडीआई यानी फर्स्ट डवलपमेंट इंडिया और जीडीपी यानी गवर्नेंस, डवलपमेंट और परफॉरमेंस की नई डेफिनेशन से सरकार के विजन को जरूर स्पष्ट किया गया।
इसमें अध्यक्ष सुरेश अग्रवाल, कार्यकारी अध्यक्ष डॉ अरुण अग्रवाल, उपाध्यक्ष चानणमल अग्रवाल, मुख्य सचिव गिरधारी खंडेलवाल, अतिरिक्त महासचिव महेश चंद भामोदिया, सचिव हंसराज अग्रवाल, संयुक्त सचिव प्रशांत शर्मा, वुमन विंग महासचिव ललिता कुच्छल, यूथ विंग अध्यक्ष सुनील अग्रवाल, उपाध्यक्ष अनुराग अग्रवाल, सचिव अक्षय जैन, सदस्य शरद प्रभाकर के साथ उद्योग और व्यापार के विभिन्न सेक्टरों के प्रतिनिधि शामिल हुए।
इसमें अध्यक्ष सुरेश अग्रवाल का कहना है कि बजट में वित्त मंत्री का अभी तक की उपलब्धियों का ज्यादा फोकस रहा, विपक्ष को मुद्दा बनाने का कोई अवसर ना दिया जाए ,इसके लिए कर प्रावधानों में बदलाव नहीं किया और ना ही कोई नई योजना की घोषणा की। हालांकि एफडीआई यानी फर्स्ट डवलपमेंट इंडिया और जीडीपी यानी गवर्नेंस, डवलपमेंट और परफॉरमेंस की नई डेफिनेशन से सरकार के विजन को जरूर स्पष्ट किया गया।
डॉ अरुण अग्रवाल का कहना है कि इनकम टैक्स स्लैब को 10 लाख करने की उम्मीद थी, जो नहीं हुई, वित्त मंत्री ने केवल अपनी सरकार की उपलब्धियां गिनाई, अंतरिम बजट में ज्यादा संभावना भी नहीं थी। चानणमल अग्रवाल का कहना है कि केंद्र सरकार की ओर से वित्त मंत्री कम से कम अपनी तरफ से पेट्रोल- डीजल को सस्ता करने के लिए की पहल कर सकती थी , जिसे राज्य भी अनुसरण करते और चुनावों में भी फायदा मिलता, लेकिन निराशा हाथ लगी। गिरधारी खंडेलवाल का कहना है कि 1करोड़् 40 लाख युवाओं को स्किल डवलपमेंट का लक्ष्य बेहतरीन कदम है।
इससे युवाओं को रोजगार के अवसर मिलेंगे और उद्योगों को स्किल्ड मैनपॉवर, ललिता कुच्छल का कहना है महिलाओं के लिए अंतरिम बजट में ज्यादा कुछ नहीं है, लेकिन आशा बहनों को आयुष्मान योजना से जोडने , कैंसर वैक्सीनेशन और 9 से 14 साल की लडकियों के लिए वैक्सीनेशन की घोषणा स्वागत योग्य है।
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