राहुल गांधी के विरूद्ध हिंसात्मक अभद्र टिप्पणी किए जाने के विरोध में धरने-प्रदर्शन : कांग्रेस

० संवाददाता द्वारा ० 
भारतीय जनता पार्टी के नेता समाज में नफरत और हिंसा फैलाने के लिए तरह-तरह के उपक्रम कर रहे है इसलिए कांग्रेस के कार्यकर्ताओं एवं नेताओं को जनता के बीच जाकर न सिर्फ भारतीय जनता पार्टी के नफरती कार्यक्रम को उजागर करना होगा तथा भारतीय जनता पार्टी के नेताओं को चेताना होगा कि झूठ बोलकर सरकार में तो आ गए किन्तु अब देश के लिए और जनता के विकास के लिए कार्य करना होगा।
जयपुर । लोकसभा में नेता विपक्ष राहुल गांधी के विरूद्ध भारतीय जनता पार्टी तथा उनके सहयोगी दलों द्वारा हिंसात्मक,अभद्र एवं अमर्यादित टिप्पणी एवं बयान देने के विरोध में राजस्थान प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष गोविन्द सिंह डोटासरा के नेतृत्व में जयपुर के शहीद स्मारक पर कांग्रेस पार्टी द्वारा विशाल विरोध/प्रदर्शन किया गया। धरने को सम्बोधित करते हुए राजस्थान प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष गोविन्द सिंह डोटासरा ने कहा कि 10 वर्ष के शासन के पश्चात् जब भारतीय जनता पार्टी के नेताओं का सिंहासन ढोलने लगा तो वे अब हिंसा पर उतारू हो गए हैं और अर्नगल और हिंसात्मक बयानबाजी कर रहे है।
उन्होंने कहा कि भारतीय जनता पार्टी के नेता समाज में नफरत और हिंसा फैलाने के लिए तरह-तरह के उपक्रम कर रहे है इसलिए कांग्रेस के कार्यकर्ताओं एवं नेताओं को जनता के बीच जाकर न सिर्फ भारतीय जनता पार्टी के नफरती कार्यक्रम को उजागर करना होगा तथा भारतीय जनता पार्टी के नेताओं को चेताना होगा कि झूठ बोलकर सरकार में तो आ गए किन्तु अब देश के लिए और जनता के विकास के लिए कार्य करना होगा।  उन्होंने कहा कि मोदी तीसरी बार प्रधानमंत्री तो बन गए लेकिन केवल विदेश में घूमने का काम कर रहे हैं और देश के गृह मंत्री ईडी, इन्कम टैक्स और सीबीआई का दुरूपयोग कर विपक्ष के लोगों को डराने व धमकाने का काम कर रहे है। 
उन्होंने कहा कि भारतीय जनता पार्टी की सरकार में बड़े-बड़े पदों पर बैठे हुए लोग अमर्यादित बयानबाजी कर रहे हैं यह निंदनीय है और भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जिन्हें बार-बार याद दिलाया जाता है कि वे अभी भी पद पर है और केन्द्रीय मंत्री बन गए है। इन सब बातों को नजरअंदाज कर रहे है। उन्होंने कहा कि देश के लोगों की आवाज बन कर राहुल गांधी संघर्ष कर रहे है, जन समस्याओं को उठाने का कार्य कर रहे है। उनके विरूद्ध इस प्रकार की भारतीय जनता पार्टी के नेताओं द्वारा की गई बयानबाजी सर्वथा गलत है और निंदनीय है।

 उन्होंने कहा कि यूपीए सरकार के शासन में ना तो सोनिया गांधी कभी पद पर रही और ना ही राहुल गांधी पद पर रहे किन्तु बच्चों की शिक्षा के लिए शिक्षा का अधिकार लागू किया तथा गरीब को रोजगार मिले और दो वक्त की रोटी मिले, इसके लिए मनरेगा लागू करने के साथ ही भोजन का अधिकार दिलाने हेतु फूड सिक्योरिटी एक्ट देशभर में लागू किया। उन्होंने कहा कि भाजपा की केन्द्र सरकार के 10 वर्ष के शासन में एक भी ऐसा कानून व योजना लागू नहीं हुई जिससे बेरोजगारों, गरीबों अथवा देशवासियों को किसी प्रकार की राहत अथवा मदद प्रदान करती हो। 

उन्होंने कहा कि देश के किसानों की आय दुगुनी करने अथवा उनकी उन्नति करने वाली कोई योजना भाजपा की केन्द्र सरकार द्वारा नहीं बनायी गयी, उल्टे जब किसान अपना हक मांगने तथा समस्याओं के निदान के लिए आंदोलन करने हेतु दिल्ली जा रहा था तो भाजपा की केन्द्र सरकार ने किसानों को 15 महीने तक सड़कों पर बैठने के लिए मजबूर किया गया और खून के आंसू रूलाते हुए आतंकवादी, चोर, खालिस्तानी जैसे शब्दों का इस्तेमाल उनके लिए किया गया। उन्होंने कहा कि किसानों ने भाजपा द्वारा किए गए अपमान को सहन कर लिया ताकि देश का माहौल खराब ना हो और शांति बनी रहे।

 उन्होंने कहा कि राहुल गांधी जो देश की पूर्व प्रधानमंत्री स्व. इंदिरा गांधी के पोते है, पूर्व प्रधानमंत्री स्व. राजीव गांधी के पुत्र है और देश के गरीब, पिछड़ों, दलितों, आदिवासी, महिला, युवा और किसानों की आवाज लोकसभा में नेता विपक्ष के रूप में उठा रहे हैं उनके विरूद्ध इस तरह की अमर्यादित बयानबाजी भाजपा नेताओं ने कर अशोभनीयता की सभी सीमाएं पार कर दी है जो निंदनीय है। उन्होंने कहा कि अरविन्दर सिंह मारवाह जो दिल्ली में भाजपा का नेता है वह राहुल गांधी के लिए कह रहा है कि तेरा हश्र दादी जैसा होगा इससे बड़ी शर्म की बात नहीं होगी। 

उन्होंने कहा कि जो कि बेअंत सिंह जिन्होंने पूरी उम्र कांग्रेस में बितायी तथा विभिन्न उच्च पदों को प्राप्त किया और कांग्रेस को हमेंशा अपनी मां कहा और स्वयं रवनीत सिंह बिट्टू कांग्रेस से तीन बार सांसद बना और राहुल गांधी को अपना नेता बताता रहा, आज भाजपा में जाने के बाद इतने निम्न स्तर पर उतर गया कि  राहुल गांधी के लिए अशोभनीय टिप्पणी कर रहा है, इससे बड़ी शर्मनाक बात हो नहीं सकती। उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश में भाजपा सरकार का मंत्री राहुल गांधी के लिए अपशब्दों का इस्तेमाल कर रहा है,

 महाराष्ट्र में भाजपा-शिंदे गठबंधन का विधायक संजय गायकवाड़ राहुल गांधी की जीभ काट कर लाने वाले को 11 लाख रुपये का इनाम देने की घोषणा कर रहा है जो कि ना सिर्फ दुर्भाग्यपूर्ण है बल्कि बेहद निंदनीय हिंसात्मक वक्तव्य भाजपा एवं उसके सहयोगी दलों के नेताओं द्वारा दिए गए है। उन्होंने कहा कि भाजपा नेताओं ने देश का माहौल बिगाड़ रखा है। उन्होंने कहा कि सरकार का कर्त्तव्य होता है कि देश में शांति कायम रहे, अमन-चैन का माहौल हो, लोग तरक्की करें, बच्चों का अच्छी शिक्षा मिले, परिवार का विकास हो, किन्तु भाजपा की केन्द्र अथवा किसी राज्य सरकार में शामिल नेता ने इन बयानों की निंदा नहीं की जिससे स्पष्ट है कि भाजपा के नेताओं के इरादे नेक नहीं है।

 उन्होंने कहा कि भाजपा नेताओं का एक ही मकसद रह गया है कि जैसे तैसे सरकार तो बन गई है किन्तु यह पांच साल चलने वाली नहीं है और गिर जाएगी इसलिए देश में नफरत का माहौल से देश में अशांति फैलाकर भाई से भाई को लड़वा कर और इस तरह की हिंसक बयानबाजी कर देश के मुख्य मद्दों को गौण करते हुए देश में इमरजेंसी लगा कर शासन करने का षड़यंत्र रच रहे है। उन्होंने कहा कि देश में आज भाजपा विरोधी माहौल है। राजस्थान के मुख्यमंत्री दिल्ली से आयी पर्ची पढ़ कर कहते थे कि लोकसभा चुनावों में 25 की 25 राजस्थान की लोकसभा सीटें जीतेंगे किन्तु अब कोई मुख्यमंत्री से पूछे कि 11 सीटें कैसे कम रह गई

 जबकि वे सभी सीटें 5 लाख से अधिक मतों से जीतने का दावा कर रहे थे। उन्होंने कहा कि कांग्रेस के नेताओं ने आजादी की लड़ाई लड़ी और महात्मा गांधी के पथ पर कांग्रेस नेता चलते हैं किन्तु भारतीय जनता पार्टी के सांसद महात्मा गांधी के हत्यारे नाथूराम गोडसे की तारीफ करते हैं और उनकी विचारधारा पर चलते है यह शर्मनाक है। उन्होंने कहा कि संवैधानिक पद पर बैठे हुए व्यक्ति को किसी दल का प्रचार नहीं करना चाहिए किन्तु आज भाजपा शासन में संवैधानिक पद पर बैठे हुए व्यक्ति भाजपा तथा भाजपा सरकारों की तारीफ कर रहे है जो उचित नहीं है। 

उन्होंने कहा कि कांग्रेस नेता राहुल गांधी जिनकी दादी और पिता ने देश की एकता एवं अखण्डता के लिए अपना जीवन न्यौछावर कर दिया उनके विरूद्ध जब भाजपा के नेता अमर्यादित एवं अभद्र टिप्पणियां करते हैं तो कांग्रेसियों का खून खौलना स्वाभाविक है तथा कांग्रेस के नेता एवं कार्यकर्ता भाजपा नेताओं की दादागिरी और गुण्डागर्दी के विरूद्ध सड़कों पर उतर कर संघर्ष करेंगे। उन्होंने कहा कि कांग्रेस के नेता एवं कार्यकर्ता निडर है, डरते नहीं है। उन्होंने कहा कि भारतीय जनता पार्टी की तानाशाही का विरोध करने हेतु वे स्वयं हमेशा तैयार एवं तत्पर है। 

भारतीय जनता पार्टी की सरकार उन्हें रोक नहीं सकेगी। उन्होंने कहा कि राहुल गांधी के साथ प्रदेश का हर कांग्रेस नेता एवं कार्यकर्ता न्याय की लड़ाई में कंधे से कंधा मिलाकर संघर्ष हेतु तैयार है। उन्होंने कहा कि वे पुलिस द्वारा झूठे मुकदमें दर्ज करने और सरकार के षड़यंत्रों से डरने वाले नहीं है जनता के लिए व कांग्रेस कार्यकर्ताओं के लिए संघर्ष करने के लिए वे किसी भी कीमत में पीछे नहीं हटेंगे। उन्होंने कहा कि अंग्रेज भी झूठे मुकदमें दर्ज कर लोगों को डराने का काम करते थे और यही भाजपा की भी नीति है किन्तु अंग्रेजों को भी कांग्रेस ने भगाया था उसी प्रकार भाजपा को भी शासन से बाहर करने का काम किया जाएगा। 

उन्होंने कहा कि वे कांग्रेस कार्यकर्ताओं की रक्षा के लिए हर तरह का बलिदान देने के लिए तैयार तथा भाजपा की निरंकुश सरकार को कांग्रेस कार्यकर्ताओं के विरूद्ध आंख भी उठा कर नहीं देखने देंगे। उन्होंने कहा कि आज राजस्थान में मुख्यमंत्री, मंत्री एवं विधायक दिन-रात एक ही बात रट रहें है कि उनकी चलती नहीं है तो फिर जनता जानना चाहती है कि चल किसकी रही है और चला कौन रहा है। उन्होंने कहा कि राजस्थान में वर्तमान सरकार जैसा गया-बीता राज किसी ने नहीं देखा। उन्होंने कहा कि जब कोई सरकार अच्छा काम करती थी तो सभी उसकी तारीफ करते थे और पक्ष-विपक्ष अच्छे कार्यों की सराहना करने में गुरेज नहीं करते थे

 किन्तु वर्तमान भाजपा सरकार के शासन में सिर्फ मतभेद नजर आता है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस नेताओं एवं कार्यकर्ताओं के पास अवसर है कि भाजपा नेताओं की बदजुबानी, अभद्र टिप्पणियां, हिंसक बयानबाजी तथा भाजपा की तानाशाहीपूर्ण सरकार को रोकने हेतु एकजुटता के साथ नेता विपक्ष राहुल गांधी एवं कांग्रेस अध्यक्ष  मल्लिकार्जुन खड़गे के साथ कंधे से कंधा मिला कर संघर्ष में शामिल होना पड़ेगा। उन्होंने कहा कि भाजपा का कुशासन ज्यादा दिन नहीं चलेगा, यह हरियाणा में निश्चित रूप से हारने वाले है, महाराष्ट्र में भी भाजपा की हार तय है, इसीलिए भाजपा के नेता देश का माहौल खराब करना चाहते है। 

उन्होंने कहा कि राजस्थान कांग्रेस नेता हरियाणा चुनावों में प्रचार हेतु जा रहे है जहां भाजपा को सबक सिखा कर आएंगे। उन्होंने कहा कि प्रदेश में काम करने वाला मुख्यमंत्री होना चाहिए इसलिए कांग्रेस के सभी कार्यकर्ताओं को गांव-गांव, ढाणी-ढाणी जाकर भारतीय जनता पार्टी की केन्द्र एवं राज्य सरकार की विफलताओं को उजागर करना होगा और कांग्रेस सरकार द्वारा किए गए कार्यों का प्रचार-प्रसार करते हुए प्रदेश में होने वाले 7 विधानसभा उप चुनावों में कांग्रेस की विजय सुनिश्चित करनी होगी। उन्होंने कहा कि अपनी विफलताओं को छुपाने हेतु भाजपा नेता वन नेशन-वन इलेक्शन जैसे जुमले ला रहे है किन्तु जिस प्रकार संविधान बदलने की बात पर भाजपा 400 पार के नारे के बावजूद 200 पार पर सिमट गई,

 इस जुमले से भाजपा की केन्द्र सरकार 5 वर्ष का कार्यकाल भी पूर्ण नहीं कर पाएगी। उन्होंने कहा कि इसी भाजपा की केन्द्र सरकार ने महिला आरक्षण बिल सर्वसम्मति से पारित करवाया था किन्तु आज भाजपा का कोई नेता यह बताने को तैयार नहीं है कि महिला आरक्षण बिल कौनसी तारीख से लागू होगा। उन्होंने कहा कि जिस प्रकार महिला आरक्षण बिल पास करवाने के बावजूद लागू नहीं किया अब चूंकि पूरे देश में एवं भाजपा में भी प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी का विरोध शुरू हो गया है इससे ध्यान भटकाने के लिए वन नेशन-वन इलेक्शन का नया शगुफा छोड़ा गया है। उन्होंने कहा कि संविधान में संशोधन हेतु भाजपा के पास संख्या बल नहीं है तो यह फिर कैसे लागू होगा।

 उन्होंने कहा कि राजस्थान प्रदेश में बजट में वन स्टेट-वन इलेक्शन की घोषणा करवा दी जो कि बजट का भाग नहीं होता और यह भी जवाब भाजपा सरकार से देते नहीं बन रहा कि पंचायती राज संस्थाओं के चुनाव बिना केन्द्रीय कानून के संशोधन के बगैर कैसे करवाएंगे जबकि केन्द्रीय कानूनों में बदलाव करने का अधिकार राज्य सरकार को नहीं है। उन्होंने कहा कि वन स्टेट-वन इलेक्शन और वन नेशन-वन इलेक्शन केवल एक जुमला मात्र है और भाजपा की राजस्थान सरकार पंचायती राज संस्थाओं पर प्रशासक नियुक्त कर राज करना चाहती है जो राजस्थान में कांग्रेस पार्टी का कार्यकर्ता होने नहीं देगा।

 उन्होंने धरने में उपस्थित कांग्रेस कार्यकर्ताओं से आह्वान किया कि दिनांक 20 अथवा 21 को जिला स्तर पर भारतीय जनता पार्टी के नेताओं द्वारा राहुल गांधी के विरूद्ध हिंसात्मक अभद्र टिप्पणी किए जाने के विरोध में धरने-प्रदर्शन आयोजित करें। उन्होंने कहा कि भारतीय जनता पार्टी के नेताओं के विरोध में कांग्रेस पार्टी के नेता एवं कार्यकर्ता ब्लॉक एवं बूथ स्तर तक धरने, प्रदर्शन कर भाजपा नेताओं को इस प्रकार की अभद्र टिप्पणी नहीं करने हेतु चेतावनी देंगे।

राजस्थान प्रदेश कांग्रेस कमेटी के महासचिव व मीडिया प्रभारी स्वर्णिम चतुर्वेदी ने बताया कि धरने को नेता प्रतिपक् टीकाराम जूली, उप नेता प्रतिपक्ष रामकेश मीना, सांसद भजनलाल जाटव, विधायक मनोज मेघवाल, अमित चाचाण, अमीन कागजी, पूर्व मंत्री गोविन्दराम मेघवाल, प्रतापसिंह खाचरियावास, पूर्व विधायक संयम लोढ़ा, आर.आर. तिवाड़ी, डॉ. अर्चना शर्मा, श्रीमती सुनीता गठाला सहित अनेक प्रमुख कांग्रेसजनों ने सम्बोधित किया। धरने में सांसद हरीश चन्द्र मीना, विधायक शांति धारीवाल, राजेन्द्र पारीक, अमीन कागजी, हाकम अली, दीपचन्द खैरिया, 

श्रीमती इन्द्रा मीना,  भीमराज भाटी,  पूसाराम गोदारा, पीतराम काला, मनीष यादव, श्रीमती अनिता जाटव,  प्रशान्त शर्मा, डॉ. विकास चौधरी, मांगेलाल मीना,  सुरेश गुर्जर, श्रीमती गीता बरवड़, डॉ. शिखा मील बराला, जिलाध्यक्ष आर. आर. तिवाडी, जाकिर हुसैन गैसावत, श्रीमती सुनीता गठाला, भानुप्रताप सिंह, हरिप्रसाद बैरवा, पूर्व मंत्री गोविन्द राम मेघवाल, डॉ. राजकुमार शर्मा, लोकसभा प्रत्याशी वैभव गहलोत, पूर्व विधायक श्रीमती गंगा देवी वर्मा, लाखन मीना, करण सिंह राठौड़, गजराज खटाना, डॉ. सुरेश चौधरी, दांताराम गुर्जर, ओमप्रकाश हुडला, महिला कांग्रेस अध्यक्ष श्रीमती राखी गौतम, 

कांग्रेस युवा कांग्रेस कार्यकारी अध्यक्ष यशवीर सूरा, प्रत्याशी अभिषेक चौधरी, श्रीमती मनीषा गुर्जर, पूर्व चेयरमेन मुमताज मसीह, महेश शर्मा धर्मेन्द्र सिंह राठौड़, एम.डी. चौपदार, महेन्द्र गहलोत, प्रदेश पदाधिकारी  रामसिंह कस्वां,  राजेश चौधरी, जसवंत गुर्जर, आर. सी. चौधरी, स्वर्णिम चतुर्वेदी, विजेन्द्र सिंह सिद्धू, मोहन डागर, राहुल भाकर, नरेश चौधरी, रघुवीर सिंह राठौड़, कुलदीप पूनियां, कार्यकारी जिलाध्यक्ष जयपुर देहात राजेन्द्र यादव सहित अनेक कांग्रेसजन उपस्थित रहे।

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