नारायण सेवा संस्थान उदयपुर ने लगाये 228 निःशक्तजनों को निःशुल्क कृत्रिम अंग

० आशा पटेल  ० 
जयपुर। जयपुर में दिव्यंगों के लिए आयोजित केम्प में नारायण सेवा संस्थान उदयपुर ने 228 निःशक्तजनों को निःशुल्क कृत्रिम अंग लगाये गए |  जयपुर के अजमेर रोड स्थित मयूर गार्डन पर आयोजित नारायण लिम्ब एवं कैलिपर्स फिटमेंट शिविर में जयपुर व आसपास के 228 दिव्यांगों को अपर-लोवर व मल्टीपल कृत्रिम अंग एवं केलिपर्स लगाए गए।
नारायण लिम्ब एवं कैलिपर्स फिटमेंट शिविर का उद्घाटन पर्यटन उप निदेशक दलीप सिंह राठौड़ एवं उद्योगपति विनोद चौधरी ने किया। इस मौके पर दलीप सिंह राठौड़ ने कहा कि नारायण सेवा संस्थान दिव्यांगों को सशक्त ही नहीं कर रहा बल्कि उनके जीवन को सुगम और सार्थक बना रहा है। यह संसथान द्वारा समाज एवं मानवमात्र की सेवा में एक बहुत बड़ा योगदान है।

 विनोद चौधरी ने संस्थान के संस्थापक कैलाश मानव एवं अध्यक्ष प्रशांत अग्रवाल की सेवा भावना और वर्षों की कार्य साधना की प्रशंसा की। उन्होंने दिव्यांगों को संबोधित करते हुए उन्हें शिविर से लाभांवित हो अपने पैरों पर चलने की शुभकामनाएं दी। सम्मानित अतिथियों राम प्रकाश वैद्य, हजारीलाल अग्रवाल, शशिमोहन शर्मा एवं महेश घीया ने भी संस्थान की सराहना की। इस शिविर के लिए नॉर्मेट इंडिया ने कॉरपोरेट सोशल रेस्पोंसिबिलिटी (सीएसआर) के तहत योगदान किया। शिविर में नॉर्मेट इंडिया के वित्त प्रबंधक लोकेश वर्मा, एचआर मैनेजर पूजा सिंह ने सक्रिय भागीदारी निभाई।

शिविर के प्रारंभ में नारायण सेवा संस्थान के ट्रस्टी एवं निदेशक श्री देवेंद्र चौबीसा ने संस्थान के एक मुट्ठी आटे अभियान से लेकर अब तक की मानव कल्याण से जुड़ी सेवाओं से अवगत कराया। इस मौके पर उन्होंने नारायण सेवा संस्थान का वर्ष 2025 का संकल्प पत्र भी प्रस्तुत किया। चौबीसा ने बताया कि जयपुर के दिव्यांगजनों को उनके घरों के नजदीक ही मदद पहुँचाने के लिए गत वर्ष 11 अगस्त, 2024 को यहां कैंप लगाया था। जिसमें 400 से ज्यादा निःशक्तजन आए थे । उनमें से 228 दिव्यांगजनों को नारायण लिंब व केलिपर्स लगाने के लिए चयनित किया था । उन्हें ही आज आप सबके सामने नई सक्षम जिंदगी का उपहार मिल रहा है।

 दिव्यांगों की ली गई नाप के अनुसार जर्मन तकनीक से बने वजन में हल्के, टिकाऊ, मॉड्यूलर एवं उच्च गुणवत्ता वाले नारायण लिम्ब लगाए गए हैं। संस्थान ट्रस्टी चौबीसा ने बताया कि आज के शिविर में एक ही छत के नीचे 228 दिव्यांगजन नारायण लिम्ब पहनकर अपने घरों को विदा हुए। ये दिव्यांगजन वर्षों पहले किसी दुर्घटना में अपने हाथ -पैर गंवाने के कारण चलने -फिरने में असमर्थ हो चुके थे। इस शिविर में 39 लोवर लिंब, 60 अपर लिंब, 15 मल्टिपल लिंब और 114 केलिपर्स लगाए गए। इस दौरान संस्थान की 80 लोगों की टीम ने अपनी सेवाएं दी। शिविर के दौरान कृत्रिम अंग पहनकर दिव्यांगों ने परेड की और फुटबॉल व बेडमिंटन भी खेला।

 दिव्यांगों को संस्थान डॉक्टर्स ने कृत्रिम अंग पहनकर चलने की ट्रेनिंग व उनके रखरखाव की जानकारी भी दी। शिविर प्रभारी एवं संयोजक हरिप्रसाद लढ्ढा और बद्री लाल शर्मा ने अतिथियों का धन्यवाद अर्पित किया। संचालन महिम जैन ने किया। नारायण सेवा संस्थान वर्ष 1985 से नर सेवा-नारायण सेवा की भावना से काम कर रहा है। संस्थापक कैलाश मानव को मानव सेवा के लिए राष्ट्रपति ने पद्मश्री पुरस्कार से भी नवाजा है। संस्थान के अध्यक्ष प्रशान्त अग्रवाल दिव्यांगों के लिए मेडिकल, शिक्षा, कौशल विकास और खेल अकादमी के माध्यम से मानसिक, 

शारीरिक एवं आर्थिक दृष्टि से मजबूत कर लाखों दिव्यांगों को समाज की मुख्यधारा में ला चुके है। वर्ष 2023 में अग्रवाल को राष्ट्रपति पुरस्कार से सम्मानित किया गया था । संस्थान अब तक 46,722 से अधिक नारायण लिम्ब लगा चुका है। संस्थान अब देश के कई राज्यों के दिव्यांगों को निःशुल्क नारायण लिम्ब प्रदान कर उनकी रुकी जिन्दगी को फिर से शुरू करने के लिए बड़े स्तर पर काम कर रहा है ।

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